छत्तीसगढ़

आयुर्वेद के जरिये जटिल रोगो से मिल रही निजात

बीजापुर 07 जुलाई 2022- जिला आयुर्वेद अधिकारी ने बताया जिले के विभिन्न जटिल रोगो का ईलाज किया जा रहा है। जिसका हितग्राहियों द्वारा निःशुल्क लाभ लेकर शारीरिक स्वास्थ्य प्राप्त किया जा रहा है। मरीजों में आयुर्वेद के प्रति आकर्षण बढ़ा है। मरीजों की सुने तो बासागुड़ा शासकीय आयुर्वेद औषधालय से उपचार पश्चात स्वस्थ्य हुऐ मरीजों ने अपना अनुभव साझा किया जिसमें 70 वर्षीय श्री सोमूलू ताती एवं 62 वर्षीय भीमा मोड़ियम को स्वास्थ्य लाभ लिया। सोमलू ताती ने बताया कि वह दो माह से शिरशूल अथवा सिर दर्द से काफी परेशान था। वह बासागुड़ा आयुर्वेद औषधालय के डाॅ. उपेन्द्र द्वारा ईलाज किया गया। ईलाज के दौरान शिरशूलादि वज्र रस, लक्ष्मी विलास रस, अमृतारिष्ट, फेविकाॅन कैप्सूल, पाइनर कैप्सूल षडबिन्दू तेल इत्यादि औषधियों से इलाज किया गया। दो माह के नियमित औषधी सेवन के पश्चात मुझे पूर्ण रूप से दर्द से छुटकारा मिला।
                   इसी तरह भीमा मोड़ियम ने बताया कि विगत दो-तीन माह से जोड़ों के दर्द से परेशान था, जोड़ों में सूजन भी था तब मुझे बासागुड़ा स्वास्थ्य केन्द्र  में बेहतर उपचार सुविधा उपलब्ध कराया गया। वातरोग लक्षण होने के कारण, वातान्तक कैप्सूल, अर्थोविम सिरप, महाविषगर्भ तेल, अश्वगंधा चूर्ण इत्यादि औषधियों के माध्यम से मेरे जोड़ों का दर्द कम हुआ है। जिसके लिये मै आयुर्वेद विभाग का सदैव आभारी रहूंगा। इसी तरह विभिन्न जटिल रोगों का निदान आयुर्वेद के माध्यम से जिले के स्वास्थ्य कार्यकर्ता एवं चिकित्सकों द्वारा किया जा रहा है। अधिक से अधिक मरीजों को ईलाज की सुविधा उपलब्ध कराने आयुर्वेद विभाग द्वारा निःशुल्क दवाई वितरण, स्वास्थ्य जांच के लिए शिविर का भी आयोजन किया जाता है और लोगों के बीच व्यापक प्रचार-प्रसार का कार्य भी किया जा रहा है।

प्राकृतिक आपदा पीड़ित परिवार को 4 लाख रूपए की सहायता राशि स्वीकृत
बीजापुर 07 जुलाई 2022- कलेक्टर श्री राजेन्द्र कुमार कटारा द्वारा राजस्व पुस्तक परिपत्र 6-4 के तहत प्राकृतिक आपदा पीड़ित परिवार को 4 लाख रूपए की आर्थिक सहायता प्रदान करने की स्वीकृति दी गई है। जिसके अन्र्तगत कोईटपाल निवासी मनोज कुमार लेकाम के नदी में डुबकर मृत्यु होने के कारण उनके निकटतम वारिस उनके पिता श्री सुखनाथ लेकाम निवासी कोईटपाल को उक्त राशि प्रदान करने की स्वीकृति दी गई।

जिले के विभिन्न पंचायतों में मनाया गया रोजगार दिवसप्रत्येक माह के 07 तारीख को नियमित रूप से मनाया जाएगा रोजगार दिवस
बीजापुर 07 जुलाई 2022. ग्राम पंचायत मिड़ते, तुमनार, तमलापल्ली, चेरपल्ली, बामनपुर, संगमपल्ली, गोरला, गोल्लागुड़ा, गलगम, कोडोली, नेलसनार, रेड्डी एवं उसूर सहित जिले के विभिन्न ग्राम पंचायतों में महात्मा गांधी नरेगा योजनांतर्गत जाबकार्डधारी मजदूरों के लिए प्रावधानों एवं समय-समय पर जारी शासन की मार्गदर्शिका एवं परामर्श के अलावा पंचायत स्तर पर पूर्ण हो चुके कार्यों के साथ प्रगतिरत कार्यों की जानकारी मजदूरों के देने के लिए ग्राम पंचायत में रोजगार दिवस का आयोजन किया गया। वैश्विक महामारी कोविड-19 के कारण इसका नियमित आयोजन अवरूद्ध था। ग्राम पंचायतों में पुनः आयोजन किये जाने के निर्देश प्राप्त होने के बाद ग्रामीणों के काम के अधिकार संबंधी प्रावधान को प्रभावी रूप से लागू करने एवं शिकायत निवारण के उद्देश्य से रोजगार दिवस का आयोजन किया गया है।

पौधे तैयार करेंगी स्व सहायता समूह की महिलाएंसीएफपी के विशेषज्ञों द्वारा सीएलएफ के पदाधिकारियों को दिया गया प्रशिक्षण
बीजापुर 07 जुलाई 2022- राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन अन्तर्गत समूह बनाकर अपनी आजीविका के लिए कार्य करने वाली महिलाओं के लिए जिलें में बहुत से नवाचार किये जा रहे हैं। उसी कड़ी में इन महिलाओं की मेहनत और लगन को ध्यान में रखते हुए इनके माध्यम से पौधरोपण व नर्सरी तैयार करने की पहल की जा रही है। जिसके लिए गुरूवार को जिला पंचायत सभागार में सीएफपी ;कलस्टर फेसीलिटेशन प्रोजेक्टद्ध के विशेषज्ञों द्वारा स्व सहायता समूह के सीएलएफ ;कलस्टर लेवल फेडरेशनद्ध के पदाधिकारियों को वृक्षारोपण व नर्सरी तैयार करने का तकनीकी मार्गदर्शन व प्रशिक्षण दिया गया।
                  जिला पंचायत मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री रवि साहू ने बताया कि कलेक्टर श्री राजेन्द्र कुमार कटारा  के मार्गदर्शन में स्व सहायता समूह की महिलाओं के सीएलएफ ;कलस्टर लेवल फेडरेशनद्ध के माध्यम से पौधे तैयार करने व जिले के 73 गौठानों में ब्लाक प्लांटेशन करने की योजना बनाई गई है। प्रशिक्षण में जिला समन्वयक एवं प्राकृतिक संसाधन प्रबंधन के विशेषज्ञ अनुराग राजपूत एवं जीआईएस के जिला विशेषज्ञ सुबोध पडेगांवकर ने महिलाओं को पौधरोपण व नर्सरी तैयार करने में सीएलएफ की भूमिका पर विस्तार से प्रकाश डाला, साथ ही पौधरोपण करने के पूर्व आवश्यक तैयारियां एवं तकनीकी पहलुओं पर चर्चा की। प्रशिक्षण के दौरान मनरेगा एपीओ नारायण बंजारे, तकनीकी समन्वयक विक्रम वर्मा, प्रोग्रामर जिनेश कुमार के अलावा एनआरएलएम, उघानिकी विभाग के अधिकारी भी उपस्थित रहे।

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