जगदलपुर 27 मार्च 2023/ विश्व रंगमंच दिवस के उपलक्ष्य में बस्तर एकेडमी ऑफ डांस आर्ट एंड लिटरेचर बादल संस्थान आसना में रंगमंच दिवस पर आधारित विचार गोष्ठी आयोजित की गई, जिसमें रंगमंच के ऊपर उपस्थित कलाकारों ने अपने विचार व्यक्त किए।इस अवसर पर उपस्थित कलाकारों ने रंगमंच के ऊपर अपने संस्मरणों को साझा किया।इस गोष्ठी में रंगमंच कलाकार गोवर्धन पानीग्राही ने स्व.सत्यजीत भट्टाचार्य से जुड़े अपने संस्मरण सुनाए। शिव नारायण पांडे ने कहा कि जीवन भी एक रंग मंच की तरह ही है।पूनम गुप्ता ने कहा कि सभी अपने कार्य क्षेत्र में अपना कार्य सही समय पर करके अपनी भूमिका निभाते हैं। नूपुर दास महानंदी ने बचपन से किए जा रहे अभिनय से जुड़े संस्मरण बताए। दीप्ति ओगरे ने थियेटर वर्क से जुड़ी जानकारियां साझा कीं। योगेश साहनी ने नृत्य से जुड़े अपने अनुभव बताए।सचिन पन्ना ने कहा कि रंगमंच के माध्यम से कलाकारों को अपनी प्रतिभा दिखाने का मौका मिलता है। स्मृति पाढ़ी ने नृत्य नाटिका के मंचन के संबंध में जानकारी साझा कीं। नीलू राम कोर्राम ने कहा कि लोक संस्कृति से जुड़े कलाकारों द्वारा भी अभिनय किए जाते हैं, हमें उन्हें भी प्रोत्साहित करना चाहिए। भरत गंगादित्य ने बस्तर के रंगकर्म से जुड़े अपने अनुभव साझा किए ।इस अवसर पर बस्तर के रंगकर्म से जुड़े वरिष्ठ कलाकार व साहित्यकारों का स्मरण किया गया। विचार गोष्ठी में विनीता पाडे और विशाल ठाकुर ने भी अपने विचार रखे। कार्यक्रम के अंत में बादल प्रभारी पूर्णिमा सरोज ने कहा कि बादल संस्थान के द्वारा रंगकर्म को लेकर कार्य किया जा रहा है, जिसके अंतर्गत नाट्य कृतियों को सहेजने का कार्य किया जा रहा है। भविष्य में बादल संस्था द्वारा विशेष शिक्षाप्रद एवम् ऐतिहासिक नाटकों का मंचन किया जाएगा, जिसमें अंचल के प्रतिभाशाली कलाकारों को भी भाग लेने का अवसर मिलेगा।बादल संस्थान द्वारा सभी विधाओं से जुड़े कलाकारों का पंजीकरण किया गया है, उन्हें भी भविष्य में बादल संस्था के माध्यम से अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर दिया जाएगा।
इस तरह कार्ययोजना प्रस्तवित है जिसके अन्तर्गत प्रति तीन माह में एक नाटक बादल संस्था के माध्यम से प्रदर्शित किया जा सकता है।विचार गोष्ठी का संचालन भरत गंगादित्य ने किया।