छत्तीसगढ़

मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी को लिखा पत्र

छत्तीसगढ़ में प्रधानमंत्री आवास की लक्ष्य पूर्ति की ओर आकृष्ट किया ध्यान

प्रतिक्षा सूची के शेष 6 लाख 99 हजार 439 आवासों का लक्ष्य प्रदान करने का किया अनुरोध

आवास प्लस के 8 लाख 19 हजार 999 परिवार के लिए भी मांगा आवास

प्रधानमंत्री आवास योजना के लिए छत्तीसगढ़ सरकार अब तक जारी कर चुकी है राज्यांश की 88 प्रतिशत राशि

भारत सरकार द्वारा वर्ष 2021-22 हेतु आवंटित 7,81,999 आवास के लक्ष्य को वापस ले लिया गया है,  इस लक्ष्य को राज्य को पुनः आवंटित करने का किया अनुरोध

कोविड-19 की विषम परिस्थितियों के बावजूद भी छत्तीसगढ़ राज्य आवास पूर्णता की दिशा में राष्ट्रीय स्तर पर अग्रणी रहा

छत्तीसगढ़ अपने सीमित संसाधनों के साथ प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी में सराहनीय प्रदर्शन किया

शेष आवासों को पूर्ण करने के लिये राज्य सरकार ने वर्ष 2023-24 के बजट में   3238 करोड़ रुपए का प्रावधान किया है

केंद्र द्वारा शेष आवासों के लक्ष्य प्राप्त न होने के कारण प्रदेश सरकार द्वारा नहीं की जा सकी है स्वीकृति रायपुर, 2 अगस्त 2023/मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर प्रदेश में प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत प्रतिक्षा सूची के शेष आवासों के  लिए लक्ष्य आबंटित करने का अनुरोध किया है। मुख्यमंत्री ने इसके साथ ही प्रधानमंत्री जी से प्रदेश में आवास प्लस के 8 लाख 19 हजार 999 हितग्राही परिवारो के लिए भी लक्ष्य आबंटित करने का अनुरोध किया है।

    मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने पत्र में लिखा है कि  प्रदेश में वर्तमान में प्रधानमंत्री आवास योजनातर्गत कुल 18,75,585 हितग्राही भारत सरकार की सामाजिक- आर्थिक जाति जनगणना-2011 ¼SECC&2011½  की स्थायी प्रतीक्षा सूची ग्रामीण में दर्ज है। उपरोक्त सूची से वर्ष 2016-2023 तक कुल 11,76,146 हितग्राहियों को आवास की स्वीकृति प्रदान कर दी गई है। स्वीकृति पश्चात् योजना में लगभग 73.5 प्रतिशत (8,63,567) आवास निर्माण सफलतापूर्वक पूर्ण किया जा चुका है। इस प्रकार स्थायी प्रतीक्षा सूची 6,99,439 लक्ष्य प्राप्ति हेतु शेष है। यह भी कि वर्ष 2021-22 हेतु आवंटित 7,81,999 आवास के लक्ष्य को भारत सरकार द्वारा वापस ले लिया गया। इस लक्ष्य को राज्य को पुनः आवंटित करने हेतु राज्य शासन के पत्र क्रमांक 5026 दिनांक 18.08.2022 के माध्यम से भारत सरकार को इन आवास को किश्तों में देने का अनुरोध किया गया है, किन्तु भारत सरकार की ओर से कृत कार्यवाही की जानकारी आज दिनांक तक अपेक्षित है। मात्र वर्ष 2022-23 में 79,000 आवास का ही लक्ष्य दिया गया है।

मुख्यमंत्री श्री बघेल ने प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में कहा है कि मैं आपका ध्यान इस ओर आकृष्ट करना चाहूंगा कि कोविड-19 की विषम परिस्थितियों के बावजूद भी छत्तीसगढ़ राज्य आवास पूर्णता की दिशा में राष्ट्रीय स्तर पर अग्रणी रहा है। प्रारंभ से अब तक प्रधानमंत्री आवास योजना हेतु औसत वार्षिक व्यय अपने अनुमानित वार्षिक बजट की तुलना में राज्य का प्रदर्शन बेहतर परिलक्षित हुआ है। कृपया इस तथ्य से भी अवगत होवें कि राज्य सरकार के द्वारा वर्ष 2020-21 एवं 2022-23 में स्वीकृत 2,36,813 आवासों को पूर्ण करने के लिये वर्ष 2023-24 के बजट में राशि रूपये 3238.00 करोड़ का प्रावधान किया गया है, जिसमें राशि रूपये 674.75 करोड़ का आवंटन जारी किया जा चुका है। हितग्राहियों को प्रथम किश्त राशि रूपये 285.33 करोड़, द्वितीय किश्त राशि रूपये 270.66 करोड़, तृतीय किश्त राशि रूपये 78.77 करोड़ एवं चतुर्थ किश्त राशि रुपये 19.20 करोड़ भी उनके खाते में हस्तांतरित किया जा चुका है।

श्री बघेल ने पत्र में लिखा है कि भारत सरकार से स्थायी प्रतीक्षा सूची के 6,99,439 आवास लक्ष्य प्राप्त न होने के कारण प्रदेश सरकार द्वारा स्वीकृति जारी नहीं की जा सकी, फलस्वरूप आवास प्लस के 8,19,999 हितग्राहियों को भी स्वीकृति प्रदान नहीं किया जा सका। अतः मेरा अनुरोध है कि उपरोक्त शेष आवासों के अतिरिक्त राज्य को आवास प्लस का भी लक्ष्य प्रदाय किये जायें। साथ में अवगत कराना चाहता हूँ कि छत्तीसगढ़ अपने सीमित संसाधनों के साथ प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी में सराहनीय प्रदर्शन किया है 2,62,677 स्वीकृत आवास के विरूद्ध 51ः आवास पूर्ण है एवं शेष प्रगतिरत् है। राज्य सरकार ने इन आवास में लगने वाले राज्यांश राशि रूपये 2,706,69 करोड़ के विरूद्ध 2.389.07 करोड अर्थात 88ः राशि उपलब्ध करा दी है। इस प्रकार प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी में भी राज्य का प्रदर्शन सराहनीय है, अतएव उपरोक्त तथ्यों के दृष्टिगत पुनः आग्रह है कि विद्यमान स्थायी प्रतीक्षा सूची  (Existing PWL) में शामिल 6,99,439 परिवारों के साथ-साथ, आवास प्लस के 8,19,999 परिवार के लिये भी राज्य सरकार को लक्ष्य प्रदान किये जायें, ताकि योजना के उद्देश्य की पूर्ति हो सके।

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