छत्तीसगढ़

महतारी वंदन योजना से महिला सशक्तिकरण को मिलेगा बढ़ावा-जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती सुशीला भट्ट

जिला पंचायत अध्यक्ष ने महतारी वंदन योजना के लिए फार्म भरने आई महिलाओं को किया सम्मानित

महतारी वंदन योजना के तहत आवेदन हुआ प्रारंभ

कवर्धा, फरवरी 2024। महतारी वंदन योजना प्रारंभ होते ही आज जिले के महिलाओं में जबरदस्त उत्साह दिख रहा है और फॉर्म भर रही हैं। इसके लिए पात्रता में आने वाली सभी महिलाएं आंगनबाड़ी केन्द्रों और पंचायतों में फार्म भरने के लिए पहुंच रही है। कवर्धा के मॉडल आंगनबाड़ी केन्द्र में जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती सुशीला भट्ट ने महतारी वंदन योजना के लिए फार्म भरने आई महिलाओं को तिलक लगाकर और पुष्पगुच्छ प्रदान कर सम्मानित किया। उन्होंने महिलाओं को इस योजना के लिए बधाई एवं शुभकानाएं दी। जिले में ऑनलाईन फॉर्म एवं ऑफलाईन पंजीयन शुरू हो गया है। कार्यक्रम में जिला पंचायत सदस्य श्री रामकुमार भट्ट, जनपद अध्यक्ष श्रीमती इंद्राणी चंद्रवंशी, श्री दिनेश चंद्रवंशी, पाषर्द श्री उमंग पाण्डेय, प्रभारी कलेक्टर एवं जिला पंचायत सीईओ श्री संदीप अग्रवाल, जिला कार्यक्रम अधिकारी श्री आनंद तिवारी सहित फार्म भरने आएं हितग्राही उपस्थित थे।
जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती सुशीला भट्ट ने कहा कि महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के उद्देश्य से प्रदेश में महतारी वंदन योजना 1 मार्च 2024 से लागू की जाएगी। उन्होंने कहा कि मोदी की गारंटी को पूरा करते हुए मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की सरकार महिलाओं की आर्थिक उन्नति के लिए प्रति माह 01 हजार रूपए देने का निर्णय लिया है। इससे महिलाओं में आत्मविश्वास बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि महिलाओं के आर्थिक स्वालंबन तथा उनके स्वास्थ्य एवं पोषण स्तर में सशक्त सुधार तथा परिवार में उनके निर्णायक भूमिका सुदृण करने के लिए महत्वपूर्ण साबित होगा।
जिला पंचायत सदस्य श्री रामकुमार भट्ट ने कहा कि महतारी वंदना योजना छत्तीसगढ़ राज्य की महिलाओं के लिए वरदान साबित होने वाली है क्योंकि इस योजना के तहत सभी पात्र महिलाओं को सालाना 12000 यानी हर महीने 1000 की राशि प्रदान की जाएगी। जो सीधे लाभार्थी महिला के बैंक खाते में ट्रांसफर की जाएगी। इस योजना के तहत मिलने वाली राशि महिलाओं को हर महीने किस्त में दी जाएगी। उन्होनें कहा कि महिलाओं को आर्थिक सहायता प्रदान करने का मुख्य उद्देश्य यही है कि महिलाओं को भी समाज में समान अधिकार मिले और महिलाएं आत्मनिर्भर बने।

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